पत्र द्वारा अपने मित्र को बताइए कि सतत और व्यापक मूल्यांकन पद्धति (CCE) आपको कैसी लगी?
26/8 मालीवय नगर,
नई दिल्ली,
दिनांक…………………..
प्रिय मित्र रविकांत
सप्रेम नमस्ते।
तुम्हारा पत्र मिला। तुमने C.C.E, पद्धति पर मेरे विचार जानने चाहे हैं। मैं इस पत्र में इस पर अपने विचार प्रकट कर रहा हूँ।
सतत एवं व्यापक मूल्यांकन पद्धति (C.C.E.) मुझे बहुत अच्छी लगी है। इसमें पढ़ाई का तनाव काफी घटा है। अब हम वर्ष भर पढ़ते रहते हैं और समय-समय पर उसका मूल्यांकन होता रहता है। एक-दो बार की परीक्षा का भत सिर पर सवार नहीं रहता। हम बड़ा सहजता एवं सतरलता से कार्य करते रहते हैं। इसमें फॉरमेटिव कार्यों का भी सही मूल्यांकन होता है। केवल रटाई व लिखाई पर बल नहीं रहता। पूरे पाठ्यक्रम को दो भागों में विभाजित करा भी अच्छा कदम है। अब पुराना बार-बार नहीं आता।
आशा है तुम्हें भी यह पद्धति पसंद आएगी।
शेष कुशल।
तुम्हारा प्रिय मित्र
राकेश।